मसूरी उत्तराखंड
मसूरी पंपिंग पेयजल योजना के पश्चात लगातार मसूरी की सड़कों पर भू – दशाउ और भूस्खलन की समस्या देखने को मिल रही है अभी इस परियोजना को पूरे हुए एक साल भी नहीं हुआ और मसूरी को लगातार भारी नुकसान का सामना करना पड़ रहा है, आपको बताते चलें कि पूर्व में भी लंढोर पिक्चर पैलेस मुख्य मार्ग भूस्खलन के कारण ढह गया, वही झूलाघर कोतवाली के सामने पुस्ता गिर गया हमने अपने न्यूज चैनल के माध्यम से पूर्व में भी यह आशंका जताई थी कि आने वाले समय में मसूरी के कई स्थानों को खतरा पैदा हो चुका है क्योंकि जब मसूरी पंपिंग पेयजल योजना का कार्य चल रहा था तो जेसीबी के कारण जो कंपन मसूरी की सड़कों पर पैदा हुआ है उससे यहां के पुस्तों में कई प्रकार की कमियां आ चुकी है लेकिन शासन प्रशासन अभी भी आंखें मूंदे बैठा है और इस पर कोई भी चिन्हिकरण की कार्यवाही नहीं कर रहा है कि कौन से पुस्ते कच्चे हुए हैं और किन पुस्तों से आने वाले समय में सड़कों को और स्थानीय भवनो को जान माल का खतरा है क्योंकि जेसीबी मशीन इसीलिए पहाड़ों में प्रतिबंधित है क्योंकि जेसीबी के कारण यहां के पुस्तों में कंपन पैदा होता है और जिसके कारण उनकी मजबूती पर खतरा बना हुआ है, विगत रात्रि ऐसी ही एक घटना मसूरी कैमल बैक रोड में देखने को मिली जहां पर दुर्गा मंदिर के सामने रोड धस गयी जबकि हाल ही में यहाँ पर सीवर लाइन का कार्य पूर्ण हुआ है कहीं ना कहीं यह सवाल भी उठता है कि जो ठेकेदार इन योजनाओं में कार्य करते हैं वह सही मटेरियल का इस्तेमाल नहीं करते और सही पैमानों के साथ कार्य नहीं करते हैं जिसके कारण लगातार मसूरी की सड़क और पुस्ते ढह रहे हैं , माल रोड में लगे कोब्लिग को अभी 6 महीने भी पूरे नहीं हुए और वह उखड़ के अलग हो चुके हैं कहीं ना कहीं यह विभाग और शासन प्रशासन की मिली भगत का एक बहुत बड़ा उदाहरण है, इन सभी समस्याओं पर शीघ्र ही गौर नहीं किया गया तो आने वाले समय में मसूरी के भविष्य को बहुत बड़ा खतरा है क्योंकि मसूरी पंपिंग पेयजल योजना की लाइन पूरे मसूरी में बिछी है और ऐसे कई और सड़के और भावनो को गिरने का लगातार भय बना हुआ है, जिस प्रकार से पूर्व में भी लंढोर मार्ग का निरीक्षण किया गया था कि लंढोर की सड़क लगातार धस रही है और कई इंच नीचे जा चुकी है ऐसे में क्या आने वाले समय में लंढोर की सड़क और भवनो को भी खतरा है.